Bihar News: पूर्व सीएम मांझी ने अभ्यर्थी अदालत में सुनी शिक्षको की समस्याएं

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Jitan ram Manjhi

Bihar News, Patna news: हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा सेकुलर पार्टी के संस्थापक संरक्षक सह पूर्व मुख्यमंत्री जीतनराम मांझी ने गुरुवार को अपने पटना स्थित आवास पर एक शिक्षक अभ्यर्थी अदालत का आयोजन किया। इस कार्यक्रम में, संरक्षक जीतन राम मांझी और राष्ट्रीय अध्यक्ष सह पूर्व मंत्री बिहार सरकार, डा संतोष कुमार सुमन की उपस्थिति में, बड़ी संख्या में शिक्षक अभ्यार्थियों ने भाग लिया। इस अदालत में, सभी अभ्यर्थियों ने अपनी समस्याओं को सुनाया।

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शिक्षक भर्ती में त्रुटियों पर संरक्षक की आलोचना

समस्याओं को ध्यानपूर्वक सुनने के बाद, मांझी ने कहा कि शिक्षक नियुक्ति में कई त्रुटियां मिली हैं। बहुत सारे अभ्यर्थी इस समस्या से जूझ रहे हैं, क्योंकि उनका स्कोर कटऑफ लिस्ट से अधिक होने के बावजूद चयन नहीं हुआ है। संरक्षक ने बताया कि आरक्षण रोस्टर का पालन भी नहीं किया गया है।

चुनौतियों का सामना (Bihar News)

मांझी ने इस विषय पर आरोप लगाते हुए कहा कि किसी भी परीक्षा के प्रवेश पत्र जारी होने से पहले उसके आवेदन पत्र की जांच की जाती है, फिर प्रवेश पत्र जारी किया जाता है, और इसके बाद अभ्यर्थियों का चयन होता है। मांझी ने इस विषय में भी आलोचना की कि अभ्यर्थियों के पारवी लोगों का आवेदन सुधारा जा रहा है, जो उनके चयन के बाद होता है।

शिक्षक भर्ती के विवादित आंकड़े

इसके साथ ही, आयोग द्वारा जारी किए गए आंकड़ों के बारे में भी आलोचना की गई। मांझी ने बताया कि 120,336 अभ्यर्थी सफल माने गए हैं, जिनमें से 10,000 अभ्यर्थियों को अयोग्य ठहराया गया है, और इसके साथ भी सरकार का विवादित ढिंढोरा पीट रहा है। मांझी ने सवाल उठाया कि ये 10,000 शिक्षक कहां से और कैसे चयन हुए?

सरकार के खिलाफ आवाज़ उठाने की दी धमकी

मांझी ने कहा कि 120,336 शिक्षकों की नियुक्ति में बाहरी राज्य के 18,000 शिक्षकों का चयन हुआ है, जबकि पहले से नियोजित शिक्षकों की गिनती करीब 48,000 है। मांझी ने सरकार के विरुद्ध आलोचना की कि ऐसा क्यों हो रहा है, जब एनडीए की सरकार में तीन लाख सत्तर हजार बिहारी नौकरियां पाई थीं, और ऐसा क्यों नहीं हो रहा है अब।

मांझी की मांगें (Bihar News)

समस्याओं के समाधान के लिए मांझी ने कई मांगें रखी
  1. 1.Sc/ST/EBC/BC के तरह बिहार के दिव्यांग को भी आरक्षण का लाभ दिया जाए.
    • 2.यदि दिव्यांग प्रमाण पत्र नहीं है और सामान्य कोटि में चयन की योग्यता रखते हैं तो वैसे दिव्यांग अभ्यर्थी का चयन सामान्य कोटि में किया जाए.
  2. 3.प्राथमिक विद्यालय (1-5 वर्ग) में 3142 पद है जो Sc महिला कोटे के हैं, उन्हें Sc पुरुष कोटे से भरा जाए.
  3. 4.उर्दू विषय में वर्ग 1 से 5 में 4932 पद रिक्त हैं, जबकि कई अभ्यर्थी कटऑफ से अधिक अंक प्राप्त कर चुके हैं, लेकिन उनका रिजल्ट नहीं आया है.
  4. 5. दिव्यांग में सफल अभ्यर्थियों का मेडिकल जांच करवाया जाए.
  5. 6.उन अभ्यर्थियों को बताया जाए, जिन्हें कटऑफ से अधिक अंक हैं, क्वालीफाइंग पेपर में भी पास हैं, लेकिन उनके असफल होने का कारण नहीं बताया गया है.
  6. 7.PGT केमिस्ट्री में 75% रिक्ति के लिए 39 मार्क्स समान वर्ग के लिए निर्धारित किए गए थे, जबकि दूसरे सब्जेक्ट के लिए 48 अंक निर्धारित थे, इसका स्पष्टीकरण किया जाए।
  7. मांझी जी ने समस्याओं के समाधान के लिए सरकार से कठोर खड़ा होने की धमकी दी और आगामी आंदोलन की संभावना जताई।
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