भारतीय संसद में एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए, केंद्रीय कानून मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने मंगलवार को लोकसभा में ‘ऐतिहासिक महिला आरक्षण बिल’ को पेश किया। इस बिल के माध्यम से सरकार ने महिलाओं को लोकसभा, राज्य विधानसभाओं, और दिल्ली विधानसभा में एक तिहाई आरक्षण देने का प्रस्ताव रखा है। इस बिल को 128वें संविधान संशोधन विधेयक, 2023 के रूप में पेश किया गया है।
महिला आरक्षण का उद्देश्य
इस ऐतिहासिक महिला आरक्षण बिल का मुख्य उद्देश्य राज्य और राष्ट्रीय स्तर पर नीति-निर्माण में महिलाओं की अधिक भागीदारी को सक्षम बनाना है। इस बिल के अनुसार, प्रत्येक परिसीमन प्रक्रिया के बाद लोकसभा और राज्य विधानसभाओं में महिलाओं के लिए आरक्षित सीटों की अदला बदली होगी।
महिलाओं की सक्षमता का संकेत
यह नया कदम महिलाओं की सक्षमता को बढ़ावा देने के रूप में महत्वपूर्ण है और उन्हें सियासी प्रवृत्ति में अधिक शामिल होने का मौका प्रदान करेगा। इस विधेयक के पारित होने के बाद, भारत की विधायिका में महिलाओं की प्रतिष्ठा और भागीदारी में एक नया मानदंड स्थापित होगा।
राज्यों में महिला सदस्यों की संख्या
राज्यों | कुल सीटें | महिला सदस्यों की संख्या |
---|---|---|
आंध्र प्रदेश | 175 | 58 |
अरुणाचल प्रदेश | 60 | 20 |
असम | 126 | 42 |
बिहार | 243 | 81 |
छत्तीसगढ़ | 90 | 30 |
दिल्ली- | 70 | 23 |
गोवा | 40 | 13 |
गुजरात | 182 | 61 |
हरियाणा | 90 | 30 |
हिमाचल प्रदेश | 68 | 23 |
जम्मू-कश्मीर | 90 | 30 |
झारखंड | 81 | 27 |
कर्नाटक | 224 | 75 |
केरल | 140 | 47 |
मध्य प्रदेश | 230 | 77 |
महाराष्ट्र | 288 | 96 |
मणिपुर | 60 | 20 |
मेघालय | 60 | 20 |
मिजोरम | 40 | 13 |
नागालैंड | 60 | 20 |
ओडिशा | 147 | 49 |
पुद्दुचेरी | 30 | 10 |
पंजाब | 117 | 39 |
राजस्थान | 200 | 67 |
सिक्किम | 32 | 11 |
तमिलनाडु | 234 | 78 |
तेलंगाना | 119 | 40 |
त्रिपुरा | 60 | 20 |
उत्तर प्रदेश | 403 | 134 |
उत्तराखंड | 70 | 23 |
पश्चिम बंगाल- | 294 | 98 |